आप की बढ़ी मुश्किलेंः नई एक्साइज पॉलिसी के खिलाफ CBI जांच के आदेश जारी

आप की बढ़ी मुश्किलेंः नई एक्साइज पॉलिसी के खिलाफ CBI जांच के आदेश जारी
आप की बढ़ी मुश्किलेंः नई एक्साइज पॉलिसी के खिलाफ CBI जांच के आदेश जारी

नई दिल्लीः आप पार्टी की मुश्किलें एक बार फिर से बढ़ती हुई दिखाई दे रही है। उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने राजधानी की अरविंद केजरीवाल सरकार के खिलाफ सीबीआई जांच के आदेश दिए हैं। दिल्ली की नई एक्साइज पॉलिसी में शराब के दुकानों के टेंडर में गड़बरी का आरोप है। जानकारी के मुताबिक बताया जा रहा है कि दिल्ली की आम आदमी पार्टी सरकार की नई आबकारी नीति में कई नियमों की अनदेखी करते हुए टेंडर जारी कर दिए गए।

चीफ सेकेट्री की रिपोर्ट पर लिया गया फैसला

एलजी विनय कुमार सक्सेना ने सरकार के खिलाफ सीबीआई जांच का ये बड़ा आदेश दिल्ली के चीफ सेक्रेटरी की एक रिपोर्ट के बाद उठाया है। जिसमें राज्य सरकार पर नियमों की अनदेखी की बात कही गई थी। बता दें कि दिल्ली की नई आबकारी नीतियों को लेकर प्रमुख विपक्षी पार्टी बीजेपी लगातार आम आदमी पार्टी की सरकार पर हमलावर थी। ऐसे में चीफ सेकेट्री की रिपोर्ट के बाद दिल्ली के एलजी ने सीएम केजरीवाल की सरकार के खिलाफ सीबीआई जांच का जो आदेश दिया है उसे एक बड़ी कार्रवाई माना जा रहा है।

बीजेपी नई एक्साइज पॉलिसी को लेकर कई बार कर चुकी प्रदर्शन

बीजेपी ने दिल्ली सरकार की इस नई एक्साइज पॉलिसी को लेकर कई बार प्रदर्शन कर चुकी है। मार्च 2022 में तो बीजेपी कार्यकर्ताओं ने पॉलिसी के विरोध में लंबा चक्काजाम कर दिया था। सिर्फ बीजेपी ही नहीं, बल्कि कांग्रेस भी इसका विरोध कर रही है। लेकिन सवाल उठता है कि आखिर ये नई एक्साइज पॉलिसी में ऐसा क्या है जो इसका विरोध हो रहा है? गौरतलब है कि दिल्ली के एलजी चाहे पुराने हो या नए उनके और दिल्ली के सरकार के बीच छत्तीस का आंकड़ा रहा है। संवैधानिक पदों पर बैठी शख्सियतों के बीच ये अदावत दिल्ली की सत्ता में किसका नियंत्रण हो इस विषय को लेकर चला करती है। ऐसे में इस फैसले के बाद दोनों के बीच के संबंधों में कुछ और तनाव आ सकता है।

दिल्ली की एक्साइज पॉलिसी को समझिए

इस नई पॉलिसी के तहत दिल्ली में जो कुल 272 वार्ड्स हैं और हर वार्ड में कम से कम शराब की तीन दुकानें होंगी। इस पॉलिसी के लागू होने से पहले दिल्ली सरकार ने कहा था कि 79 वार्ड में एक भी दुकान नहीं हैं वहां भी वाइन शॉप दुकानें खोली जाएंगी। ये दुकानें दूसरे वार्ड से शिफ्ट होकर यहां आएंगी। इस पॉलिसी से पहले तक 60 फीसदी दुकानें सरकारी और 40 फीसदी दुकानें प्राइवेट थीं। अब 100 फीसदी दुकानें निजी हाथों में हैं। शराब पीने की कानूनी उम्र 25 साल से घटाकर 21 साल की गई है। इस विषय में दिल्ली सरकार ने हाईकोर्ट में कहा था कि जब 18 साल से ऊपर वोट दे सकते हैं तो शराब क्यों नहीं पी सकते।