पंजाबः HC के फैसले के बाद आप सरकार पर जमकर बरसे नवजोत सिद्धू

पंजाबः HC के फैसले के बाद आप सरकार पर जमकर बरसे नवजोत सिद्धू

संगरूर: माननीय हाईकोर्ट के आदेशों के बाद बहाल हुई पंजाब की पंचायतों ने शनिवार को गुरुद्वारा मस्तुआना साहिब में इकट्ठे होकर वाहेगुरु का शुक्रिया करने के लिए धार्मिक समागम का आयोजन किया। समागम दौरान विशेष तौर पर पहुंचे पीपीसीसी पूर्व प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू एक बार फिर पंजाब सरकार खिलाफ आक्रामक रूख में दिखाई दिए। सिद्धू ने पंजाब सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि पंजाब सरकार द्वारा सरपंच-पंचों के हक छीनने की कोशिश की गई, जिसके खिलाफ वह पहले दिन से सरपंच-पंचों के साथ खड़े हैं।

सरपंच-पंचों ने अदालत की मदद से बहाली का फैसला करवाकर जहां इतिहास रचा है, वहीं पंजाब सरकार को मुंह की खानी पड़ी है। पंचायतों ने अपनी ताकत दिखा दी है और पंजाब सरकार को धूल चाटने पर मजबूर कर दिया। सिद्धू ने मान सरकार को घेरते हुए कहा कि पंजाब सरकार ने पंचायतों को समय से पहले भंग करके बेहद गलत फैसला लिया था, जिसका उन्होंने सख्त विरोध किया। जनता के चुने हुए नुमाइंदे सरपंच-पंचों को कांग्रेस ने विशेष ताकत दी थी व उन्हें आत्मनिर्भर बनाया था।

लेकिन आम आदमी पार्टी की पंजाब सरकार इनके हकों को छीनकर अपनी कठपुतली बनाने की कोशिश की व पंजाब के 12 हजार गांवों की पंचायतों ने इसका कड़ा विरोध करते हुए अपने हक बहाल करवाने में सफलता हासिल की। पंचायतों ने साबित कर दिया है कि पंचायतें न तो कमजोर हैं व न ही सरकार की धक्केशाही को सहन करने वाली हैं। सरपंचों को 25 हजार रुपये व पंचों को 10 हजार रुपये मासिक मानभत्ता देने का वादा करने वाली पंजाब सरकार ने आज तक वादा पूरा नहीं किया।

सिद्धू ने कहा कि हाईकोर्ट की सख्त फटकार के बाद भी पंजाब सरकार अपनी घिनौनी हरकतों से बाज आने की बजाए। अब नई वार्डबंदी की आड़ में सरपंच-पंचों की जमीनी पकड़ को कमजोर करने की खातिर वार्डों को तोड़ रही है। कहीं वार्डों को एससी, कहीं महिला एससी व कहीं जनरल वार्ड बनाए जा रहे हैं व इलाकों में कांट-छांट कर रही है। सिद्धू ने कहा कि आज पंचायतों ने उन्हें लिखित तौर पर पत्र देकर इन मुद्दों से अवगत करवाया है। ऐसे में उनकी पंजाब सरकार को सख्त चेतावनी है कि सरकार अपनी हरकतों से बाज आए। अन्यथा पंजाब की पंचायतें सरकार का तख्ता पलटने से गुरेज नहीं करेंगे। पंचायतों को दबाने की खातिर सरकार सरपंच-पंचों पर केस दर्ज करने, धमकाने, विजिलेंस जांच के हथकंडे अपना रही है व लोकतंत्र का हनन कर रही है।