पंजाबः पूर्व कैबिनेट मंत्री की आज हो सकती है अकाली दल में वापसी 

पंजाबः पूर्व कैबिनेट मंत्री की आज हो सकती है अकाली दल में वापसी 

पार्टी को मजबूत करने में जुटे सुखबीर बादल

लुधियानाः लोकसभा चुनावों के मद्देनजर अकाली दल के सुप्रीमों सुखबीर सिंह बादल पार्टी को मजबूत करने में जुट गए है। ऐसे में पुरानों नेताओं की घर वापसी कराने को लेकर लगातार जुटे है। हालांकि कई पुराने नाराज चल रहे नेताओं की उन्होंने घर वापसी करवाई भी है। वहीं आज सुखबीर बादल पूर्व कैबिनेट मंत्री की घर वापसी करवा सकते है। दरअसल, सुखबीर बादल पूर्व सांसद सुखदेव सिंह ढींडसा और शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) की पूर्व अध्यक्ष बीबी जागीर कौर के बाद पूर्व कैबिनेट मंत्री और 'टकसाली अकाली' नेता जगदीश सिंह गरचा ने 4 साल के लंबे अंतराल के बाद शिरोमणि अकाली दल में वापसी करने का फैसला किया है।

आज वीरवार को शिरोमणि अकाली दल (SAD) के अध्यक्ष और पूर्व उपमुख्यमंत्री सुखबीर सिंह बादल की मौजूदगी में अपनी गरचा वापसी की घोषणा करेंगे। 80 वर्षीय गरचा ने चुनावी राजनीति से दूर रहने का फैसला किया है, लेकिन वह पार्टी की मजबूती के लिए काम करेंगे। हालांकि, गरचा और भाई मोहकम सिंह, मनजीत सिंह भोमा सहित अन्य शिअद (संयुक्त) नेताओं ने इस साल मार्च में सुखबीर सिंह बादल के नेतृत्व वाले शिअद के साथ पार्टी के विलय की घोषणा करने के लिए पूर्व सांसद सुखदेव सिंह ढींडसा का विरोध किया था। उन्होंने ढींडसा पर पार्टी के हितों को बेचने का भी आरोप लगाया था।

पूर्व मंत्री के बेटे हरजिंदर सिंह गरचा ने कहा कि उनका सुखबीर बादल के साथ कोई व्यक्तिगत मुद्दा नहीं है। उन्होंने कहा कि हम पार्टी के कामकाज के खिलाफ थे और वफादारों को उचित सम्मान उस समय नहीं मिल रहा था। पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल की बरसी (पुण्यतिथि) के दौरान सुखबीर ने अपने पिता और अन्य दिग्गजों को उचित सम्मान दिया। हरजिंदर सिंह गरचा ने कहा कि हम इस बात की सराहना करते हैं कि सुखबीर बादल ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के साथ गठबंधन से इनकार कर दिया और यही हम चाहते थे। उन्होंने कहा कि मुद्दों का समाधान हो गया है और हम पार्टी के साथ मजबूती से खड़े हैं।

इसके अलावा वह और उनके पिता बिना किसी शर्त के पार्टी में शामिल हो रहे हैं। वे लोकसभा चुनाव लड़ने की दौड़ में नहीं हैं, लेकिन भविष्य में अगर पार्टी उन्हें चुनाव में उतारती है तो वे चुनाव लड़ेंगे। जगदीश सिंह गरचा ने कहा कि वे सुखबीर बादल का स्वागत करेंगे, जो वीरवार को उनसे मिलने आएंगे। वे सभी पार्टी और पंजाब के मुद्दों के लिए एकजुट हैं। उनके भाई मान सिंह गरचा पहले ही सुखबीर बादल के नेतृत्व वाली शिअद में लौट आए थे। जगदीश सिंह गरचा और मान सिंह गरचा ने मार्च 2020 में शिअद छोड़ दी और बागी नेता सुखदेव सिंह ढींडसा और उनके बेटे परमिंदर सिंह ढींडसा में शामिल हो गए।