नई दिल्ली : हर गुजरते पल के साथ बढ़ती उम्मीदों और उत्साह के बीच भारत आज चांद पर नया इतिहास रचने को तैयार है। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन ने कहा कि चंद्रयान-3 मिशन तय समय पर है और बुधवार की शाम चांद के दक्षिण ध्रुवीय क्षेत्र में सॉफ्ट लैंडिंग के लिए सुचारू रूप से आगे बढ़ रहा है।मून मिशन चंद्रयान-3 आज शाम 6 बजकर 4 मिनट पर चांद पर टच डाउन होगा। एक तरफ रूस का चंद्र मिशन लूना-25 जो क्रैश हो चुका है लेकिन भारत ने इससे सबक सिखते हुए ISRO के वैज्ञानिक भी फूंक-फूंक कर कदम रख रहे हैं। सबसे पहले लैंडर की स्पीड को कंट्रोल में रखना। दरअसल पिछली बार तेज रफ्तार की वजह से लैंडर क्रैश हो गया था और इसरो से संपर्क टूट गया था, हाल ही में रूस के लूना-25 के साथ भी ऐसा ही हुआ। दूसरा सबसे बड़ा चैलेंज यह है कि लैंडर चंद्रयान-3 उतरते समय सीधा रहे। इसका सीधा चांद की सतह पर उतरना बेहद जरूरी है, वहीं तो संपर्क टूटने की आशंका है।
वहीं तीसरी चुनौती है कि ISRO द्वारा सेलेक्ट की गई जगह पर ही लैंडिंग हो। पिछली बार ऊबड़-खाबड़ जगह से लैंडर टकराने की वजह से चंद्रयान-2 क्रैश हो गया था। चंद्रयान-3 की लैंडिंग दक्षिणी ध्रुव के पास होगी। वहीं, पहले जो चंद्रयान-3 अंतरिक्ष में 40 हजार किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से चल रहा था, वहं अब लैंडिंग कछुए की गति से भी कम स्पीड में करेगा ताकि किसी भी तरह की गलती की गुंजाइश न हो। चंद्रमा पर उतरने के साथ ही भारत ऐसा करने वाला विश्व का चौथा देश और चांद के दक्षिणी ध्रुव पर उतरने वाला पहला देश बन जाएगा। इससे पहले अमेरिका,रुस और चीन ऐतिहासिक करिश्मे को अंजाम दे चुके हैं। इसरो के मुताबिक सिस्टम की नियमित जांच हो रही है और मिशन ऑपरेशंस कॉम्प्लेक्स (MOX) ऊर्जा और उत्साह से भरा हुआ है। इसरो ने एक ट्वीट में कहा,‘‘चंद्रयान-3 मिशन तय समय पर है। सिस्टम की नियमित जांच हो रही है। सुचारू संचालन जारी है।” इसरो ने कहा,‘‘MOX ऊर्जा और उत्साह से भरपूर है! और इसका सीधा प्रसारण एमओएक्स / आईएसटीआरसी पर लैंडिंग ऑपरेशन 23 अगस्त, 2023 को 17:20 बजे शुरू होगा।”