शिमला: हिमाचल प्रदेश के इतिहास में पहली बार चार दिनों के लिए कैबिनेट की बैठक होने वाली है। इस बैठक की शुरुआत मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व में होगी। कैबिनेट की शुरुआत 28 जुलाई को होगी और 31 जुलाई तक चलेगी। बैठक का समय 2 घंटे का रखा गया है। कयास लगाए जा रहे हैं कि इस बैठक में कई जरुरी फैसलों पर चर्चा हो सकती है। संयुक्त सचिव की ओर से खुद चार दिन चलने वाली इस कैबिनेट बैठक को लेकर अधिसूचना जारी की गई है।
मानसून में हुआ भारी नुकसान
आपको बता दें कि इस मानसून सीजन में हिमाचल प्रदेश में बादल फटने, अचानक बाढ़ आने और भारी बारिश के चलते बहुत तबाही हुई है। इस प्राकृतिक आपदा में लोगों को भारी नुकसान भी हुआ है। सरकारी आंकड़ों की मानें तो करीबन 425 घर पूरी तरह से जमींदोज हो गए हैं वहीं करीबन 800 घरों को नुकसान भी हुआ है। खासतौर पर सराज विधानसभा क्षेत्र में 30% से ज्यादा परिवार किसी न किसी तौर पर आपदा के चलते प्रभावित हुए हैं। कई लोगों के घर भी इस बारिश के चलते उजड़ गए हैं। किसानों और बागवानों के खेत-खलिहान और सेब के बगीचे भी बह गए हैं। बड़ी संख्या में पालतू मवेशी भी इस बाढ़ की चपेट में आए हैं।
विशेष पैकेज का दिया आश्वासन
सीएम सुक्खू ने सराज विधानसभा क्षेत्र के दौरे में आपदा से प्रभावित हुए लोगों को खास पैकेज का आश्वासन दिया था। ऐसे में उम्मीद यह की जा रही है कि कैबिनेट की बैठक में यह वादा पूरा करते हुए सरकार वित्तीय सहायता भी दे सकती है। ऐसा माना जा रहा है कि जिन परिवारों के घर पूरी तरह टूट गए हैं। उन्हें सरकार प्रति परिवार 7 लाख रुपये तक की मंजूरी देगी।
ऐसे ही आंशिक तौर पर क्षतिग्रस्त हुए घरों के मालिकों जिनके मवेशी और खेत बह गए। उन्हें भी आर्थिक सहायता दी जाएगी। यह पैकेज उन हजारों परिवारों के लिए बड़ी राहत के तौर पर साबित होगा जिन्होंने इस विनाशकारी मानसून में अपना सब खो दिया।
31 जुलाई तक साफ हो जाएगी स्थिति
कैबिनेट बैठक में एक और बड़ा मुद्दा नगर निकाय चुनावों के आरक्षण रोस्टर के साथ भी जुड़ा हुआ है। राज्य चुनाव आयोग ने प्रदेश के सभी 73 नगर निकायों में आरक्षण सेक्टर लागू करने के निर्देश पहले ही जारी कर दिए थे हालांकि सरकार ने अंतिम समय में चुनाव आयोग को पत्र लिखकर बताया है कि इस विषय पर अंतिम फैसला कैबिनेट की बैठक में लिया जाएगा।
ऐसा माना जा रहा है कि आने वाले शहरी निकाय चुनावों में किस वर्ग को कौन सी सीट मिलेगी यह स्थिति भी 31 जुलाई तक साफ हो जाएगी। इसके अलावा बैठक में मंडी मध्यस्थता योजना (एमआईएस) के अंतर्गत फल खासतौर पर सेब के खरीद मूल्य में 50 पैसे प्रति किलोग्राम की बढ़ोतरी करने के लिए भी प्रस्ताव पास किया जा सकता है। ऐसे में अब यह खरीद मूल्य 13 रुपये प्रति किलोग्राम होगी। इसके अलावा बैठक में टीसीपी रुल में संशोधन संबंधी प्रस्ताव भी लाया जा सकता है।
जॉब ट्रेन पॉलिसी को लेकर भी हो सकती है चर्चा
कैबिनेट बैठक में नई जॉब ट्रेन पॉलिसी को लेकर भी चर्चा होने की संभावना जताई जा रही है। अभी हाल ही में लागू की गई इस नीति के अंतर्गत देशभर के युवाओं में नाराजगी देखने को मिली। सरकार ने यह साफ कर दिया कि जॉब ट्रेनी पॉलिसी में 2 साल के बाद कर्मचारियों को नियमित कर दिया जाएगा। अब यहां देखना यह है कि ये मुद्दा बैठक में चर्चा के लिए शामिल होगा या फिर नहीं।