चंडीगढ़ः मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में हाईकमान राज्य संगठनात्मक ढांचे में बदलाव करने जा रही है। इस बदलाव में पार्टी के ढांचे को मजबूत करने की ओर अधिक ध्यान दिया जाएगा तथा यह प्रयास किया जाएगा कि सभी वर्गों को समान प्रतिनिधित्व मिले। इस समय पार्टी प्रधान का पद व मुख्यमंत्री का पद दोनों ही पद मुख्यमंत्री भगवंत मान के पास हैं। इस प्रकार ये दोनों पद जट समुदाय के हाथ में हैं।
हाल ही में भगवंत मान ने प्रधान पद छोड़ने के संकेत दिए थे। ऐसे में कयास लगाए जा रहे है कि सप्ताह के भीतर नया प्रधान आप पार्टी को मिल सकता है। पार्टी अब हिंदू विशेष रूप से अनुसूचित जाति वर्ग के किसी नेता को आगे करना चाहती है। किसी भी समय पंजाब के नए अध्यक्ष (संयोजक) की नियुक्ति हो सकती है। इस समय प्रिंसिपल बुधराम कार्यवाहक अध्यक्ष के रूप में काम कर रहे हैं परंतु उनके पास वे शक्तियां नहीं हैं जो किसी प्रधान के पास होती हैं। पंजाब राज्य अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष की नियुक्ति के लिए सरकार ने 5वीं बार आवेदन आमंत्रित किए हैं।
बार-बार आवेदन मांगे जाने से अनुसूचित जाति वर्ग में सरकार के प्रति नाराजगी भी पाई जा रही है। कहा जा रहा है कि पार्टी आलाकमान विशेष रूप से अरविंद केजरीवाल को पंजाब के संबंध में फीडबैक में भ्रष्टाचार की कई शिकायतें मिली हैं। इसी प्रकार, विभिन्न बोर्डों व निगमों के अध्यक्षों व सदस्यों की नियुक्ति की जाएगी जबकि जिन अध्यक्षों, सदस्यों व अन्य अधिकारियों की रिपोर्ट अच्छी नहीं आई है, उन्हें बर्खास्त कर दिया जाएगा। उनके स्थान पर नए नेताओं को नियुक्त किया जाएगा।
