जालंधर, ENS: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले को लेकर एक ओर देश भर में भारी रोष पाया जा रहा है। वहीं जम्मू-कश्मीर जाने वाले लोगों में भय का माहौल देखा जा सकता है। पुलवामा में आतंकी हमले के बाद अब पहलगाम में आतंकी हमला हुआ। जिसमें 26 टूरिस्ट की मौत हो गई। वहीं इस मामले को लेकर पूर्व लेफ्टिनेट जरनल टीएस शेरगिल से बात की गई। उन्होंने इस घटना को निंदनीय बताया। वहीं उन्होंने घटना के 3 कारण भी बताए, जिसमें एक कारण भारत में हिंदुओ और मुस्मलमानों में विवाद पैदा करना पहला कारण है।
दूसरा मेनयोरिटी को डर से भगाने की कोशिश की गई। वहीं तीसरा कारण कश्मीर में हो रही डिवेल्पमेंट को बंद करना और टूरिस्ट को खत्म करना मुख्य कारण हो सकते है। जिससे टूरिज्म में भारी मात्रा में असर देखने को मिलेगा। पूर्व लेफ्टिनेट जरनल ने कहा कि ऐसे में जब लोगों में रोष पाया जाएगा तो हो सकता है कुछ लोग कहने लग जाएंगे कि पाकिस्तान के साथ संबंध ठीक है। उनके अनुसार यह बात जल्द सुलझने वाली नहीं है। उन्होंने कहा कि जब भी विदेश से कोई बड़ा मंत्री आता है तो आतंकियों द्वारा घटना को अंजाम दिया जाता है। इस बार भी विदेश से मंत्री के आने पर इस तरह का माहौल बनाने के लिए आतंकियों द्वारा किया गया। वहीं उन्होंने कहा कि भारत ने जो कदम उठाए है, यह छोटे कदम है। जिसमें बॉर्डर बंद करना शामिल है। बड़ी चीज यह है कि Indus Water Treaty (सिंधु जलसंधि) को संस्पेंड करना। इसमें भारत का फायदा भी हो सकता है। ऐसे में दरिया के पानी का हम अधिक इस्तेमाल कर सकेंगे।
इसमे परेशानी यह है कि पाकिस्तान चाइना के साथ जु़ड़ा हुआ है। इस समय चाइना सबसे बड़ा डैम यानी तीन गोरजेस वाले डैम से बड़ा एक डैम बना रहा है। जो हिन्दोस्तान में आकर ब्रह्मपुत्र बन जाती है, जिसे रोका जा सकता है। उन्होंने कहा कि तीन दरिया सिंधु, सतलुज और सानको (ब्रह्मपुत्र) ये तीनों तिब्बत से उठते है, यह चाइना के कंट्रोल में है। उनका मानना है कि चाइना इस घटना में पाकिस्तान का साथ नहीं देगा। आतंकवादियों ने धर्मों को बांटने के लिए घटना को अंजाम दिया है। जिसमें हिंदुओं को मुस्लमानों के खिलाफ भड़काने का काम किया है। यही कारण है कि आंतकियों ने चुन चुन कर टूरिस्ट पर हमला किया है। उन्होंने कहा कि आतंकियो ने भय फैलाने के लिए यह किया है, जिसका एक ही मकसद है कि पूरे विश्व में अटैंशन पैदा की जाए कि कश्मीर ने फ्रीडम स्ट्रगल चल रहा है।
भारत और पाकिस्तान के बीच मई से जुलाई 1999 कारगिल की लड़ाई में दोनों की लड़ाई में काफी फौजी शहीद हुए थे। दोनों देश लड़ाई को फैलने नहीं देना चाहते थे। अगर फैल जाती तो बड़ा युद्ध छिड़ सकता था। पूर्व लेफ्टिनेट जरनल ने कहा कि कश्मीर को लेकर पाकिस्तान कब्जा करने की कोशिश कर रहा है। इस समय पाकिस्तान फौज में इन डायरेक्ट रूल चल रहा है। अगर चाइना से बात की जाए तो युद्ध को कंट्रोल किया जा सकता है। वहीं यूक्रेन और रशिया, इजराइल और हिमास में लड़ाई को लेकर देखा जा सकता है कि लोगों का जमीर मर चुका है।