अमृतसरः सिविल अस्पताल में आज आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और आशा कार्यकर्ताओं ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया। कार्यकर्ताओं ने अपनी लंबित मांगों को लेकर जिला कार्यक्रम अधिकारी के कार्यालय के बाहर धरना दिया और नारेबाजी की। इस अवसर पर कार्यकर्ताओं ने जिला कार्यक्रम अधिकारी को अपनी मांगों से संबंधित एक ज्ञापन भी सौंपा। सर्व आंगनबाड़ी वर्कर हेल्पर यूनियन की पंजाब अध्यक्ष वरिंदरजीत कौर ने कहा कि पिछले 6 महीनों से सरकार ने आंगनबाड़ी और आशा कार्यकर्ताओं की मान्यता बंद कर दी है, जिससे स्थिति बेहद गंभीर हो गई है। हमारी कई साथी विधवा हैं, कुछ तलाकशुदा हैं और कुछ के घरों की हालत बेहद खराब है। हमें राशन कहां से मिलेगा, बच्चों की पढ़ाई कैसे जारी रहेगी, यही सबसे बड़ा सवाल बन गया है।
उन्होंने उदाहरण के तौर पर सुनाम की कुलजीत कौर नामक एक कर्मचारी का जिक्र किया, जिनकी बीमारी के कारण मौत हो गई, लेकिन उनके परिवार को भी कोई मदद नहीं मिली। वरिंदरजीत कौर ने चेतावनी दी कि अगर सरकार ने 17 अक्टूबर तक फंड जारी नहीं किए, तो राज्य स्तर पर कर्मचारी काले झंडों के साथ बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन करेंगे।
दूसरी ओर, जिला प्रोग्राम अधिकारी गुरमीत सिंह ने कर्मचारियों द्वारा दिए गए मांग पत्र की जानकारी देते हुए बताया कि वेतन में देरी सिर्फ तकनीकी खराबी के कारण हुई है। “कुछ तकनीकी कारणों से डेटा बैंक 6 महीने से लंबित था, लेकिन अब यह पूरा हो गया है। आज या कल तक कर्मचारियों के खातों में पैसा पहुंच जाएगा।” उन्होंने आश्वासन दिया कि सरकार की नीति में कोई खामी नहीं है, बस पोर्टल बदलने की वजह से प्रक्रिया में देरी हुई है। जिला कार्यक्रम अधिकारी ने कर्मचारियों को आश्वासन दिया कि अब कोई देरी नहीं होगी और बकाया राशि हर हाल में जारी की जाएगी।