Loading...
- Advertisement -
HomeJammu and Kashmirकिश्तवाड़ त्रासदी में 69 लापता, 46 लोगों की गई जान

किश्तवाड़ त्रासदी में 69 लापता, 46 लोगों की गई जान

WhatsApp Group Join Now
WhatsApp Channel Join Now

जम्मू-कश्मीर: किश्तवाड़ में बादल फटने के बाद मौत अब तक 46 लोगों की जान जाने की पुष्टि हो गई है। गुरुवार दोपहर करीब 12:25 बजे हुए इस प्राकृतिक त्रासदी ने कई लोगों के घर बर्बाद किए। जिन लोगों की मौत हुई उसमें दो CISF के जवान भी शामिल हैं। इसके अलावा 69 लोग अभी तक लापता बताए जा रहे हैं। इनको लेकर उनके परिजनों और बच्चों में किसी अनहोनी को लेकर बैचेनी भी है।

इस घटना को जिन्होंने देखा उन्होंने बताया है कि – 10 लाशें हमने खुद निकाली जो भाग गए वो बच गए जो नया घर बनाया था वो नाले के साथ बह गया। बच्चे बेघर हो गए आंखों से बहता आंसू और मलबों में अपनों और सपनों को ढूंढते हुए ये वो लोग हैं जिन्होंने जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ में बादल फटने के बाद मौत के मंजर को अपनी नजरों के सामने देखा है।

लोगों का कहना है कि जो उन्होंने देखा वो जानकर आपके रोंगटे खड़े हो जाएंगे। एक महिला ने बताया कि – मैं घर पर थी मैं दौड़कर भागी जो भाग गए वो बच गए मेरी जेठानी ने मुझे किचन से बाहर निकाला उसे बहुत चोट लगी है हमारा पुराना घर सुरक्षित है लेकिन जो नया बनाया था वो नाले के साथ ही बह गया है। एक पीड़िता ने कहा कि – हम कुछ खा रहे थे तभी अचानक कुछ लोग चिल्लाए भागो भागो फिर समझ नहीं आया कि किस ओर भागें नाले की तरफ या किस और हम पूरे परिवार के साथ गए थे मेरे साथ बहन, भाभी और उनका परिवार भी था वो सुरक्षित है। मेरा बेटा थोड़ा नीचे चल गया और फिर कूड़े में फंस गया। उसे बाहर निकलने में आधा घंटा लग गया। बादल जब फटा उस समय वहां सैंकड़ों लोग थे दुकानें थी लोग अभी भी मलबे में फंसे हुए हैं मेरा बच्चा अब ठीक है उसे मदद के लिए लाया गया है।

एक ने कहा कि – 12:30 के समय बादल थोड़ा-थोड़ा बढ़ रहा था उसी समय बहुत जोर से आवाज आई और मलबा मिट्टी, पेड़ बहकर आए हम जिस ब्रिज पर स्लैब डालने के लिए आए थे उसे तोड़ते हुए मलबा गांव की ओऱ चला गया। एक अन्य ने बताया कि – मंदिर के पास में लंगर लगा हुआ था वहां काफी भीड़ थी कई दुकानें थी उन सबको मलबा अपने साथ में बहाकर ले गया। कई यात्री भी थे वो सब मलबे की चपेट में आ गए जो टूटा हुआ मकान दिख रहा है उसके नीचे से 10 डेड बॉडी हमने निकाली और अभी भी कई मलबे के नीचे दबे हुए हैं। नाले के पास करीब 100-150 आदमी थे सब सैलाब में बह गए। हमने लोगों को आवाज लगाई लेकिन उन्हें सुनाई नहीं दिया।

बादल फटने से मची थी तबाही

गुरुवार को बादल फटने के कारण 16 रिहायशी मकान, सरकारी इमारतें, तीन मंदिर, चार पानी की चक्कियां और करीबन 30 मीटर लंबा पुल बहकर खत्म हो गया। दर्जनभर से ज्यादा वाहन बाढ़ की तेज धार में बहकर मलबे में बदल गए। पानी की रफ्तार के कारण एक अस्थायी बाजार, लंगर स्थल और सुरक्षा चौकी को भी पूरी तरह तबाह कर दिया।

सूत्रों की मानें तो अब तक रेस्क्यू टीम ने 167 घायलों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया है। सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो में यह देखा जा सकता है कि इस त्रासदी की भयावह तस्वीर दिखा रहे हैं। मलबे और गाद से पूरे गांव को समतल कर दिया है। मकान पत्तों की तरह ढह गए हैं और सड़कें बड़े-बड़े पत्थरों के कारण बंद हो गई है।

Disclaimer

All news on Encounter India are computer generated and provided by third party sources, so read and verify carefully. Encounter India will not be responsible for any issues.

- Advertisement -

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisement -

Latest News

- Advertisement -
- Advertisement -

You cannot copy content of this page