रिमांड पर लिए आरोपी के खुलासों पर भाजपा नेता ने पुलिस की चुप्पी पर उठाए सवाल
ऊना/सुशील पंडित: प्रदेश के वरिष्ठ भाजपा नेता एवं पूर्व कैबिनेट मंत्री वीरेंद्र कंवर को धमकी और फिरौती मांगने के सनसनीखेज मामले में पुलिस द्वारा पकड़े गए आरोपी की जानकारी सार्वजनिक न किए जाने को लेकर कई सवाल खड़े हो रहे हैं। इस प्रकरण में भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व विधायक दविंदर भुट्टो ने बंगाणा में मीडिया से पुलिस प्रशासन की चुप्पी पर कड़ा ऐतराज जताया है और मांग की है कि आरोपी को रिमांड पर लेकर उसकी सच्चाई जनता के सामने लानी चाहिए।दविंदर भुट्टो ने मीडिया से बातचीत में कहा कि जिस तरह से भाजपा के वरिष्ठ नेता को धमकी दी गई और फिरौती मांगी गई, यह न सिर्फ एक गंभीर अपराध है, बल्कि पूरे कुटलैहड़ विधानसभा क्षेत्र के माहौल को अस्थिर करने की कोशिश भी प्रतीत होती है। उन्होंने कहा कि इस मामले में आरोपी को उत्तर प्रदेश से गिरफ्तार किया गया है, जो कि पुलिस की तत्परता का प्रमाण है, लेकिन अब जबकि आरोपी पुलिस रिमांड पर है, उसकी पहचान और मंशा को सार्वजनिक करना बेहद जरूरी हो गया है।
भुट्टो ने सीधा सवाल उठाया है कि पुलिस आखिर क्यों आरोपी की पहचान और पूछताछ के दौरान सामने आई जानकारी को सार्वजनिक नहीं कर रही? क्या प्रशासन किसी बड़े खुलासे से बचना चाह रहा है या फिर किसी राजनीतिक दबाव में काम कर रहा है? उन्होंने कहा यह केवल पूर्व मंत्री वीरेंद्र कंवर को धमकी देने का मामला नहीं है, यह पूरी कुटलैहड़ की सुरक्षा और शांति व्यवस्था से जुड़ा विषय है। यदि एक वरिष्ठ नेता को धमकी दी जा सकती है, तो आम नागरिक कितना सुरक्षित है? क्या यह प्रयास किसी गहरी साजिश का हिस्सा है? भुट्टो ने कहा कि इस प्रकरण के बाद कुटलैहड़ में चर्चा का बाजार गर्म है। लोग जानना चाहते हैं कि धमकी देने वाला आरोपी कौन है, उसकी पृष्ठभूमि क्या है और उसका उद्देश्य क्या था? सोशल मीडिया पर भी यह विषय काफी वायरल हो चुका है, जहां लोग पुलिस से पारदर्शिता की मांग कर रहे हैं। पुलिस को सच्चाई सामने लानी चाहिए ताकि क्षेत्र में भय का माहौल न बने।
पूर्व विधायक भुट्टो ने यह भी आशंका जताई कि इस तरह की घटनाएं राजनीतिक षड्यंत्र का हिस्सा भी हो सकती हैं। उनका कहना है कि वीरेंद्र कंवर न केवल क्षेत्र के प्रभावशाली नेता हैं, बल्कि कई बार विधायक एवं मंत्री भी रह चुके हैं। उनके खिलाफ इस तरह की साजिश किसी राजनीतिक लाभ के लिए भी रची जा सकती है। हम यह भी नहीं भूल सकते कि कंवर के पास वर्षों का प्रशासनिक अनुभव है और वे भाजपा संगठन के मजबूत स्तंभों में से एक हैं। ऐसे में यह घटना केवल आपराधिक नहीं बल्कि राजनीतिक भी प्रतीत हो रही है। भुट्टो ने कहा कि जनता की आशंकाओं और भाजपा नेताओं की मांगों को देखते हुए अब पुलिस प्रशासन पर यह दबाव है कि वह इस मामले में पूरी पारदर्शिता के साथ काम करे। आरोपी को अदालत में पेश किए जाने के बाद उससे हुई पूछताछ की जानकारी यदि सार्वजनिक नहीं की गई, तो लोगों में अविश्वास की भावना गहराना तय है।
भुट्टो ने कहा कि पूर्व मंत्री वीरेंद्र कंवर को मिली धमकी और फिरौती की मांग के इस गंभीर मामले में जहां एक ओर कानून-व्यवस्था की स्थिति पर सवाल उठ रहे हैं, वहीं दूसरी ओर यह भी साफ होता जा रहा है कि कुटलैहड़ में माहौल को अस्थिर करने की सुनियोजित कोशिशें की जा रही हैं। पुलिस की यह जिम्मेदारी है कि वह न केवल आरोपी की पहचान स्पष्ट करे, बल्कि यह भी बताए कि उसके पीछे कौन लोग हैं और उनका उद्देश्य क्या था।
पूर्व विधायक दविंदर भुट्टो की इस मांग को लेकर अब जनता भी एकजुट हो रही है, और यदि जल्द सच्चाई सामने नहीं आई, तो यह मामला कानून व्यवस्था के साथ-साथ राजनीतिक गरमाहट भी बढ़ा सकता है। ज्ञात रहे कि ऊना पुलिस उत्तर प्रदेश के बरेली से गुफरान अली को गिरफ्तार करके लाया गया था। जिससे पुलिस पूछताछ कर रही है। इस मौके पर मंडल अध्यक्ष राजेंद्र मलांगड़, राज कुमार वर्मा, सूरम सिंह सतीश धीमान आदि मौजूद रहे।