Loading...
- Advertisement -
HomeGovernment Newsमुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य क्षेत्र में व्यवस्था परिवर्तन की सराहना की

मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य क्षेत्र में व्यवस्था परिवर्तन की सराहना की

WhatsApp Group Join Now
WhatsApp Channel Join Now

शिमला: मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविन्द्र सिंह सुक्खू ने प्रदेश के स्वास्थ्य क्षेत्र में ‘व्यवस्था परिवर्तन’ की प्रतिबद्धता को व्यक्त करते हुए कहा कि जनता के हितों को सर्वोच्च प्राथमिकता प्रदान हुए सरकार ने कई महत्त्वपूर्ण क़दम उठाए हैं। इसके तहत 70 वर्ष से अधिक आयु के वरिष्ठ नागरिकों के लिए समर्पित सीनियर सिटीजन ओपीडी शुरू की गई हैं। ये विशेष परामर्श स्लॉट प्रदेश के प्रमुख अस्पतालों में क्रियाशील हो चुके हैं, जिससे बुजु़र्गों को लंबी क़तारों से राहत मिली है।

विशेषज्ञ चिकित्सा सेवाओं को सशक्त करने की दिशा में एक ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए आईजीएमसी, शिमला तथा मेडिकल कॉलेज टांडा, हमीरपुर एवं नेरचौक और अटल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल सुपरस्पेशलिटी आयुर्विज्ञान, चमियाणा के लिए बोन मैरो ट्रांसप्लांट (बीएमटी) अधोसंरचना स्थापित करने के लिए प्रत्येक संस्थान को पांच करोड़ रुपये देने की घोषणा की गई है। इसके साथ ही आईजीएमसी और टांडा में एआई-सुविधा से लैस स्मार्ट लैब स्थापित करने के लिए 75 करोड़ रुपये की स्वीकृति प्रदान की गई है, जिससे स्वचालन के माध्यम से जांच की प्रतीक्षा अवधि में उल्लेखनीय कमी आएगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने अटल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल सुपरस्पेशलिटी आयुर्विज्ञान, चमियाणा में एक उन्नत बाल चिकित्सा केंद्र (एडवांस्ड पीडियाट्रिक सेंटर) स्थापित करने की दिशा में भी कदम बढ़ाया है, ताकि प्रदेश में ही विश्वस्तरीय बाल स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध करवाई जा सकें। राज्य सरकार ने 21 दिसंबर से एक व्यापक पल्स पोलियो अभियान सफलतापूर्वक चलाया, जिसके तहत शत-प्रतिशत टीकाकरण सुनिश्चित करने के लिए घर-घर जाकर ‘मॉप-अप’ अभियान संचालित किया गया।

सुक्खू ने कहा कि राज्य में स्वास्थ्य संस्थानों की अधोसंरचना में सुधार के साथ-साथ उच्च स्तरीय तकनीक और विशेषज्ञ रोगी देखभाल सुविधा को घर-द्वार के निकट उपलब्ध करवाने की दिशा में कार्य किया जा रहा है। इस क्रम में स्वास्थ्य सेवाओं के आधुनिकीकरण के लिए 3,000 करोड़ रुपये का निवेश सुनिश्चित किया गया है ताकि मरीज़ों को उन्नत उपचार के लिए राज्य से बाहर न जाना पड़े। उन्होंने कहा कि हिमाचल के स्वास्थ्य क्षेत्र को आधुनिक बनाने का सपना अब साकार हो रहा है, क्योंकि अटल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल सुपरस्पेशलिटी आयुर्विज्ञान, चमियाणा और टांडा मेडिकल कॉलेज में रोबोटिक सर्जरी की शुरुआत हो चुकी है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि ये सभी पहल हिमाचल को चिकित्सा के उत्कृष्ट केंद्र के रूप में स्थापित कर रही है। वर्ष 2026 की शुरुआत तक प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेजों में रोबोटिक सर्जरी सुविधाओं के विस्तार की योजना पर कार्य किया जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार दुर्गम क्षेत्रों से लेकर शहरी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों तक बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं की पहुंच सुनिश्चित कर रही है। प्रशासन एक ऐसे सुदृढ़ स्वास्थ्य प्रणाली के निर्माण को केंद्र में रखकर कार्य कर रहा है जिसमें कमज़ोर वर्गों को प्राथमिकता प्रदान की जा रही है। एआई आधारित जांच प्रणाली और विशेषज्ञ वृद्धावस्था देखभाल इसका प्रत्यक्ष प्रमाण हैं। यह व्यवस्थित बदलाव हिमाचल प्रदेश को एक आदर्श ‘हेल्थ स्टेट’ के रूप में स्थापित कर रहे हैं, जहां संवेदनशील देखभाल के साथ-साथ आधुनिक चिकित्सा तकनीक के साथ मरीज़ों को उपचार उपलब्ध करवाया जा रहा है।
.0.

Disclaimer

All news on Encounter India are computer generated and provided by third party sources, so read and verify carefully. Encounter India will not be responsible for any issues.

- Advertisement -

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisement -

Latest News

- Advertisement -
- Advertisement -

You cannot copy content of this page