नई दिल्ली: स्कूलों में अब डिजिटल ट्रांसपेरेंसी लेकर आने के लिए अब केंद्र सरकार ने जरुरी कदम उठाया है। केंद्र सरकार की ओर से सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के स्कूलों को एक पत्र जारी किया गया है। इस पत्र में शिक्षा मंत्रालय की ओर से सभी NCERT, CBSE, KVS और NVS जैसे एजुकेशन इंस्टीट्यूशन्स को फीस भरने के लिए डिजिटल पेमेंट मोड खासतौर पर यूपीआई अपनाने के लिए किहा है। शिक्षा मंत्रालय ने कहा कि ऐसा करने से सिर्फ स्कूलों में फीस भरने के लिए लगने वाली लंबी लाइनें ही खत्म नहीं होगी बल्कि इससे एडमिनिस्ट्रेशन टेक्नोलॉजी के मामले में भी अपडेटेड रहेगा।
स्कूलों में इस वजह से जरुरी है यूपीआई
स्कूलों में हमेशा से ही पेरेंट्स कैश देकर फीस भरते हैं। ऐसे में पेरेंट्स को समय निकाल कर फीस भरने के लिए स्कूल में आना पड़ता है। इसके कारण न्यू एडमिशन और पेपरों के समय में फीस काउंटरों पर भी काफी भीड़ लग जाती है। भीड़ के कारण पेरेंट्स और बच्चों को फीस भरने के लिए लंबी लाइनों में इंतजार करना पड़ता है। साथ ही कई बार फीस रिसिप्ट न मिलने के कारण या कैश न होने पर भी दिक्कत बढ़ जाती है। ऐसे में ऑनलाइन मोड में पैरेंट्स घर बैठे ही एक क्लिक से बिना किसी देरी के जमा कर पाएंगे और इसका रिकॉर्ड भी हमेशा के लिए सेफ रहेगा। इसके अलावा यूपीआई के जरिए आराम से कैशलेस पैमेंट हो जाएगी।
विकसित भारत के लिए एक अनोखा कदम
सरकार का कहना है कि ये सिस्टम डिजिटल इंडिया को भी प्रमोट करेगा। इस पहल से सिर्फ स्कूल एडमिनिस्ट्रेशन ही बेहतर नहीं होगा बल्कि पेरेंट्स भी ज्यादा से ज्यादा डिजिटली लिटरेट होंगे। 2047 तक विकसित भारत बनाने के लिए शिक्षा के क्षेत्र में भी बदलाव जरुरी हैं। बच्चों को स्मार्ट क्लासेज के जरिए पढ़ाना और स्कूल फीस भरने के लिए यूपीआई का इस्तेमाल भी इसी कड़ी का एक हिस्सा है।