मोहालीः शिरोमणि अकाली दल के सीनियर नेता ने पार्टी के सभी पदों से इस्तीफा दे दिया है। ऐसे में अकाली दल को बड़ा झटका लगा है। पार्टी के सीनियर नेता और रियल एस्टेट कारोबारी रणजीत सिंह गिल ने पार्टी छोड़ने का ऐलान कर दिया है। वे पार्टी में हलका इंचार्ज की जिम्मेदारी संभाल रहे थे और 2 बार खरड़ विधानसभा से चुनाव लड़ चुके हैं। रणजीत सिंह गिल ने पार्टी अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल को इस्तीफा भेजा है। उन्होंने अपने बयान में कहा कि, दुर्भाग्यवश अकाली दल में कुछ ऐसे लोग आ गए हैं, जिनके फैसलों की वजह से जो दिल से अकाली दल से जुड़ा हुआ था, उसमें निराशा आ गई है। इसी कारण मुझे आज यह फैसला लेना पड़ रहा है। यह मेरे हलके (क्षेत्र) की भावनाओं का फैसला है।
हमारा रविवार को बहुत बड़ा इकट्ठ हुआ था, जिसमें उन्होंने मुझसे अपनी बात कहने के लिए कहा था कि आप पार्टी अध्यक्ष साहिब से मिलकर बताएं। मैं मिलकर बता भी आया था, जो हमारे हलके की भावनाएं थीं, लेकिन अध्यक्ष ने हमें पूरी तरह से नजरअंदाज़ कर दिया। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि पार्टी उन लोगों को प्रमोट करने लगी हैं, जिनका अकाली दल की ऑडियोलॉजी से कोई लेना-देना नहीं था। हमारे परिवार सालों से अकाली दल से जुड़े हुए हैं। आज जो फैसला लेना पड़ा है, वह मेरे हलके के लोगों की भावनाओं का फैसला है।
पहले शिरोमणि अकाली दल के पीछे बेअदबी, डेरा प्रमुख को माफी देने और बरगाड़ी जैसे लगे हुए। चलो, फिर माफीनामा हुआ। हमारे धर्म में प्रथा है कि कोई सच्चे दिल से माफी मांगता है, तो उसे माफी दी जाती है। लेकिन उसके बाद जो श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदारों को हटाने की प्रथा हुई है, उससे हमारे हलके के वर्करों में निराशा थी। हमने यह बात प्रधान साहब को बताई और कहा कि एसजीपीसी को अपना फैसला वापस लेना चाहिए। जब यह बात पार्टी प्रधान को बताई गई, तो इसका खामियाजा यह भुगतना पड़ा कि जब पार्टी की कोर कमेटी या वर्किंग कमेटी बनी, तो उसमें हलके के नेताओं को कोई नुमाइंदगी नहीं दी गई, जबकि बाहर से लोगों को लाकर यहां लाया गया।