चंडीगढ़, 8 नवंबर 2024: मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में पंजाब सरकार ने राज्य की बिजली और शहरी विकास से संबंधित महत्वपूर्ण मुद्दों को लेकर केंद्र सरकार के सामने सशक्त रूप से अपनी मांगें रखीं। पंजाब के हाउसिंग और शहरी विकास मंत्री हरदीप सिंह मुंडियान, पावर मंत्री हरभजन सिंह ईटीओ, और स्थानीय सरकार मंत्री डॉ. रवजोत सिंह के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने पंजाब भवन में केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर से मुलाकात की। इस दौरान केंद्रीय मंत्री ने पंजाब की मांगों को सहानुभूतिपूर्वक देखने और शीघ्र समाधान का आश्वासन दिया।
पंजाब की मुख्य मांगें और उनका महत्व
1. BBMB और शानन परियोजना में पंजाब का अधिकार बहाल करना
पंजाब सरकार ने मांग की है कि भाखड़ा ब्यास मैनेजमेंट बोर्ड (BBMB) के 2022 में संशोधित नियमों में बदलाव करते हुए पावर सदस्य के पद पर पंजाब का प्रतिनिधि नियुक्त किया जाए। नए नियमों के तहत पंजाब के किसी भी उम्मीदवार की पात्रता समाप्त हो जाती है। इसके साथ ही, हिमाचल प्रदेश में स्थित शानन प्रोजेक्ट पर भी पंजाब ने अपना पूर्ण अधिकार जताया है, जिसे पंजाब पुनर्गठन अधिनियम के तहत मान्यता मिलनी चाहिए। इससे पंजाब को ऊर्जा उत्पादन में बढ़ोतरी मिलेगी और राज्य की ऊर्जा जरूरतें पूरी करने में सहूलियत होगी।
2. केंद्रीय संयंत्रों से दीर्घकालिक बिजली आपूर्ति की मांग
पंजाब की हाइडल और थर्मल परियोजनाओं की सीमित क्षमता को देखते हुए, राज्य ने केंद्र सरकार से दीर्घकालिक बिजली आपूर्ति की मांग की है ताकि राज्य की ऊर्जा जरूरतों को पूरा किया जा सके। इससे उद्योगों को सस्ती और स्थिर बिजली मिल सकेगी, जो राज्य के आर्थिक विकास के लिए जरूरी है।
3. सोलर पंप की क्षमता और सोलर प्रोजेक्ट्स में सब्सिडी का विस्तार
राज्य सरकार ने कृषि क्षेत्र में सोलर पंप की क्षमता को बढ़ाकर 15 हार्सपावर करने की मांग की है ताकि किसानों को कृषि कार्यों में ऊर्जा की बचत हो सके। इसके अलावा, पराली से बिजली उत्पादन को प्रोत्साहित करने के लिए सोलर प्रोजेक्ट्स और पराली-आधारित संयंत्रों को बायोगैस संयंत्रों की तरह सब्सिडी देने की मांग की गई है। यह कदम पर्यावरण के अनुकूल खेती को बढ़ावा देगा और किसानों की आय में वृद्धि करेगा।
4. सुल्तानपुर लोधी स्मार्ट सिटी परियोजना की समयसीमा बढ़ाने की अपील
पंजाब सरकार ने सुल्तानपुर लोधी स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट की समय सीमा 2025 से बढ़ाकर 2027 करने की मांग की है। राज्य ने दलील दी कि यह परियोजना अन्य स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट्स की तुलना में देर से शुरू हुई है, इसलिए इसे पूरा करने के लिए अधिक समय दिया जाना चाहिए। इससे सुल्तानपुर लोधी में बुनियादी ढांचे के विकास में तेजी आएगी और लोगों को बेहतर सुविधाएं मिलेंगी।
5. मोहाली-ज़िरकपुर के लिए ई-बस सेवा परियोजना
चंडीगढ़ से सटे मोहाली-ज़िरकपुर क्षेत्र में भी ई-बस सेवा के विस्तार की मांग की गई है। इस कदम से यातायात में सुधार आएगा और क्षेत्र के पर्यावरण को प्रदूषण से बचाने में मदद मिलेगी।
केंद्र की ओर से सकारात्मक संकेत
बैठक में केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने इन मांगों को सकारात्मक दृष्टिकोण के साथ लिया और कई मांगों पर सैद्धांतिक सहमति भी जताई। उन्होंने कहा कि सरकार पंजाब की मांगों का पूरी सहानुभूति से आकलन करेगी और आवश्यक कदम उठाएगी।
अन्य प्रमुख मुद्दे
पंजाब सरकार ने केंद्रीय योजनाओं जैसे कि आरडीएसएस योजना में समयसीमा विस्तार की भी मांग की, क्योंकि यह योजना राज्य में अपेक्षाकृत देर से शुरू की गई थी। इसके अलावा, पंजाब ने कोयला परिवहन और ट्रेड मार्जिन में कटौती की मांग की ताकि ऊर्जा क्षेत्र में राज्य की लागत को कम किया जा सके।
पंजाब के आर्थिक विकास के लिए ये मांगें क्यों महत्वपूर्ण हैं?
पंजाब सरकार की ये मांगें न केवल राज्य की ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए महत्वपूर्ण हैं, बल्कि पर्यावरण की रक्षा, उद्योगों की लागत में कमी और स्मार्ट सिटी परियोजनाओं को समय पर पूरा करने के लिए भी अनिवार्य हैं। ये कदम राज्य के विकास के नए आयाम खोल सकते हैं और रोजगार के अवसरों को बढ़ावा दे सकते हैं।
उपस्थित अधिकारी
इस महत्वपूर्ण बैठक में केंद्रीय और राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए। केंद्रीय पक्ष से बीबीएमबी चेयरमैन मनोज त्रिपाठी, पावर मंत्रालय के अधिकारी और अन्य केंद्रीय प्रतिनिधि उपस्थित थे। वहीं राज्य से, पंजाब पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (PSPCL) के सीएमडी इंजीनियर बलदेव सिंह स्रान सहित कई अधिकारी बैठक का हिस्सा बने।
पंजाब सरकार का यह प्रयास राज्य के विकास के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। केंद्र के समर्थन से ये परियोजनाएं राज्य को ऊर्जा स्वतंत्रता और सतत विकास की ओर ले जाएंगी, जिससे पंजाब के सभी वर्गों को लाभ मिलेगा।