चंडीगढ़ : पीजीआई में रेडियोग्राफर सुपरवाइजर द्वारा आत्महत्या करने का मामला सामने आया है। मृतक की पहचान नरिंदर कौर (50) के तौर पर हुई है। वह एडवांस पीडियाट्रिक सेंटर में तैनात थीं। नरिंदर कौर के परिजनों ने पीजीआई के एक चिकित्सक, उनकी पत्नी और अन्य स्टाफ पर उन्हें परेशान करने का आरोप लगाते हुए मामले की शिकायत पीजीआई चौकी पुलिस को दी। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है। नरिंदर कौर सेक्टर-35 डी में रहती थीं। सोमवार सुबह वह ड्यूटी पर आईं थीं। सुबह करीब 10:30 बजे जब ऑफिस के कमरे में कोई नहीं था तब उन्होंने अंदर से दरवाजा बंद कर अपने हाथ की नस काट ली।
काफी देर तक जब उन्होंने दरवाजा नहीं खोला तो स्टाफ दिव्या ने पीजीआई के कुछ कर्मचारियों के साथ मिलकर दरवाजे की कुंडी तोड़ दी। अंदर नरिंदर कौर बेसुध पड़ी थीं और उनकी कलाई से खून बह रहा था। आनन-फानन उन्हें पीजीआई की इमरजेंसी में ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृतक घोषित कर दिया। मामले की सूचना पुलिस को दी गई। सेक्टर-11 थाना प्रभारी मलकीत सिंह मौके पर पहुंचे और जांच शुरू कर दी। फॉरेंसिक टीम को भी बुलाया गया, जिसने साक्ष्य जुटाए। फिलहाल पुलिस मामले में सभी एंगल से जांच कर रही है। उधर, नरिंदर कौर के पति जगमिंदर ने आरोप लगाया कि उनकी पत्नी को एक चिकित्सक परेशान कर रहा था।
डॉक्टर की पत्नी भी पीजीआई में सुपरवाइजर है। नरिंदर का तबादला बच्चों की ओपीडी से न्यू ओपीडी के एडवांस पीडियाट्रिक सेंटर में कर दिया गया था। इसी कारण चिकित्सक, उसकी पत्नी, रेडियोडाग्नोस्टिक विभाग के दो ट्यूटर और एक एचए उसे परेशान कर रहे थे। जगमिंदर ने आरोप लगाया कि उनकी पत्नी को बार-बार बेइज्जत किया जाता था। इस कारण वह मानसिक तनाव में आ गई थी और इसी वजह से उसने आत्महत्या कर ली। इस मामले में पीजीआई प्रशासन का कहना है कि पोस्टमार्टम और फॉरेंसिक रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है।
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