खेल: 14 सितंबर को भारत-पाकिस्तान के बीच में एशिया कप 2025 के लिए मुकाबला होने वाला है। ऐसे में इस मैच को लेकर पिछले दिनों से कई सवाल भी उठ रहे हैं। इसी बीच अब पुणे के एक सामाजिक कार्यकर्ता केतन तिरोडकर के द्वारा सुप्रीम कोर्ट में अब इस मुकाबले को लेकर याचिका भी दायर की गई है। इसमें संविधान के अनुच्छेद 32 के अंतर्गत रिट ऑफ मैंडमस या बाकी उचित आदेश जारी करने की मांग की है ताकि इस मैच को असंवैधानिक घोषित किया जाए।
मैच बैन करने की मांग
याचिका में यह कहा गया है कि अप्रैल 2025 में कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले की निंदा करते हुए ऐसे मैचों को प्रतिबंधित कर देना चाहिए। तिरोडकर ने यह दावा किया है कि यह मैच संविधान के अनुच्छेद 21 का उल्लंघन है जो कि नागरिकों को जीवन और व्यक्तिगत स्वतंत्रता का अधिकार देता है। इसमें गरिमा के साथ जीने का पॉजिटिव अधिकार भी शामिल है।
याचिका में यह मांग भी की गई है कि केंद्र सरकार को यह निर्देश दिया जाए कि वह राष्ट्रीय खेल शासन अधिनियम 2025 को लागू करे और भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड को तुरंत राष्ट्रीय खेल महासंघ के दायरे में लाया जाए। इसके अलावा बीसीसीआई को राष्ट्रीय खेल बोर्ड में पंजीकृत कर उसकी नीतियों और नियमों का पालन करने का भी निर्देश करने की मांग भी की गई है।
सेना का मनोबल हो जाएगा कमजोर
याचिका में कहा गया है कि यह मैच हमारे सुरक्षा बलों और नागरिकों को गलत संदेश भी देता है। इसमें यह कहा गया है कि बीसीसीआई के द्वारा घोषित यह खेल आयोजन राष्ट्रहित, सेना और नागरिकों के हितों के खिलाफ बताया गया है। इससे सैनिकों और आम नागरिकों का मनोबल कमजोर होता है। वहीं कश्मीर घाटी में पाकिस्तानी आंतकियों के द्वारा लगातार हत्याएं हो रही हैं। इस याचिका पर सुनवाई अब सुप्रीम कोर्ट की प्रधान न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली पीठ शुक्रवार को करेगी।