Punjab news: गाड़ियों की फर्जी NOC मामले में Toyota सहित 3 पर FIR दर्ज, 2 गिरफ्तार, देखें वीडियो

मुक्तसर साहिबः दिल्ली के कार खरीदकर पंजाब मेें बेचने को लेकर बड़ा स्कैम निकलकर सामने आया है। दरअसल, दिल्ली से गाड़ी की फर्जी एनओसी का मामला सामने आया है। जो कि दिल्ली से गाड़ियां फर्जी एनओसी के जरिए पंजाब में बेची जा रही है। इस स्कैम में दिल्ली, पंजाब और यूपी के लोगों शामिल है। इस मामले को लेकर मुक्तसर साहिब में और यूपी में मामला दर्ज हुआ है। दरअसल, बलजीत नामक व्यक्ति ने दिल्ली के डीलर से 15.64 लाख में कार खरीदी लेकिन वह कार को चला नहीं सकता।

वहीं कार चालक की गाड़ी डिस्टब्यूटड हो गई। इस मामलेे में टोयटा कंपनी सहित 3 लोगों पर मामला दर्ज हो गया। इस मामले में सुभाष चंद्र और उसके बेटे को गिरफ्तार किया गया और दोनों की जमानत कोर्ट से रद्द की गई। मामले की जानकारी देते हुए व्यक्ति ने बताया कि इस मामले दोनों की जमानत रद्द होने पर उन्होंने कोर्ट की प्रंशसा की है। वहीं लोगों से ऐसी गाड़ियां खरीदने को लेकर सुचेत रहने की अपील की है। मामले की जानकारी देते हुए डीए लीगल संजीव कोचड़ ने बताया कि बलजीत सिंह पुत्र मनोहर सिंह निवासी मुक्तसर साहिब के व्यक्ति है। जो कि टूर एंड ट्रैवल का काम करते है। अधिकारी ने बताया कि उन्होंने एक इनोवा कार 15.64 लाख रुपए में खरीदी थी।

वह कार को सुभाष और उसका बेटा संजू दिल्ली फौजी फेयर डील के नाम पर काम कारों का कारोबार करते है। उनसे यह कार 9 लाख 64 हजार 500 रुपए में कार खरीदी थी। अधिकारी ने बताया कि इस कार की खरीद की यह रकम आरटीजीएस के जरिए दी गई, जबकि बाकी के पैसे बाद में दिए गए। इस दौरान दोनों पक्षों में इस बात पर समझौता हुआ कि वह ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट से कार की एनओसी भी जारी करवाकर देंगे। लेकिन जब एनओसी जारी होती तो पता चलता कि कार की एनओसी 25-4-2023 को जारी होती है। जिसमें सुभाष चंद्र के जरिए अप्लाई होती है। जिसके बाद बलजीत सिंह ने नाम पर ट्रांसफर होता है। इस दौरान पता चलता है कि कार पर लोन बाकी है। लोन के बाद एक पत्र जारी किया जाता है। जिस पर पुलिस जांच के बाद पता चलता है कि इस कार का मालिक असलम खान का नाम सामने आता है।

इस दौरान असलम खान से पूछताछ की जाती है तो वह बताता है कि उसने कभी गाड़ी परचेज नहीं की। उसके फर्जी दस्तावेज लगाकर और उसकी जगह फर्जी असलम खान को पेश करके गाड़ी बेची गई। जिसके बाद बरेली के रहने वाले असलम खान पुत्र नत्थू खान ने फर्जी असलम खान, टोयटा फाइनांस कंपनी और हरदीप सिंह रंधावा पुत्र बरेली कंपनी के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई गई। दरअसल, असलम खान का कहना है कि उसने गाड़ी कभी परचेज नहीं की। जबकि सुभाष का कहना हैकि उसने हरदीप से गाड़ी खरीदी है।

लेकिन जांच के दौरान यह सामने आया है कि सुभाष चंद्र ऐसा कोई सबूत पेश नहीं कर पाए है कि जिसमें साबित हो कि उन्होंने गाड़ी हरदीप से खरीदी है और ना ही किसी दस्तावेज पर वह हरदीप के हस्ताक्षर पेश कर पाए है। उन्होंने बताया कि सुभाष और उनका बेटा यह भी नहीं दिखा पाए कि उन्होंने किसी भी बैंक के जरिए हरदीप को पैसे दिए हो। डीए लीगल संजीव कोचड़ ने कहा कि अंतरराज्यीय स्तर के इस बड़े घोटाले में अगर जांच एजेंसियां ​​निष्पक्षता से जांच करें तो ई-वाहन सेवा दिल्ली के कुछ सरकारी कर्मचारियों की कथित मिली-भुगत भी सामने आ सकती है।

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