जालंधर, ENS: पंजाब में सरकारी बसों के कच्चे मुलाजिमों ने एक बार फिर से मोर्चा खोल दिया। आज प्रेस वार्ता करते हुए राज्य अध्यक्ष रेशम सिंह गिल ने कहा कि पंजाब सरकार द्वारा जारी किए बजट में भी कच्चे कर्मचारियों या बेरोजगारों के लिए कुछ नहीं रखा है। ऐसे में अब यूनियन ने चिंता जताते हुए कहा कि अगर संगठन की सभी मांगों पर ध्यान नहीं दिया गया तो 3 अप्रैल को पंजाब के सभी बस स्टैंड बंद कर पंजाब सरकार की ओर से पेश किया जाएगा, जिसमें बेरोजगार कर्मचारियों के लिए कुछ भी नहीं रखा गया है और बेरोजगारों के लिए कोई बजट नहीं रखा गया है।
कर्मचारियों, बेरोजगारों, किसानों और पंजाब मारू बजट की प्रतियां जलाई जाएंगी अगर सरकार ने फिर भी समस्या का समाधान नहीं किया तो 7-8-9 अप्रैल को पूरे पंजाब में बसों के पहिए जाम करके पंजाब के मुख्यमंत्री के आवास पर धरना दिया जाएगा और पंजाब के सभी भाईचारा संगठनों के साथ मिलकर मोहाली बस स्टैंड पर कार्यक्रम किया जाएगा, जिसकी जिम्मेदारी पंजाब सरकार के परिवहन विभाग की होगी। दरअसल, आज पंजाब रोडवेज, पनबस, पीआरटीसी कॉन्ट्रैक्ट वर्कर्स यूनियन 25/11 की राज्य स्तरीय बैठक हुई। जिसमें ऑल इंडिया फेडरेशन सीटू के राज्य अध्यक्ष महा सिंह रोड़ी और महासचिव चंद्र शेखर भी मौजूद थे। रेशम गिल ने कहा कि आप पार्टी अन्य सरकारों की तरह कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने के लिए बैठक में मांगों को न मानकर कच्चे कर्मचारियों को बार-बार संघर्ष करने के लिए मजबूर कर रही है।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ 1 जुलाई को जालंधर में संगठन के साथ एक बैठक की गई, जिसमें पंजाब के मुख्यमंत्री ने सभी समस्याओं का समाधान करने का आश्वासन दिया। मांगों को लेकर कर्मचारियों को अलग परिवहन नीति के तहत पक्का करने के आदेश भी जारी किए। सरकार की ओर से सड़क बंदी के नेता समेत एक कमेटी बनायी गयी थी, लेकिन प्रबंधन पदाधिकारी की नीति में अंतर है या फिर सरकार मांगों का समाधान नहीं करना चाहती। उन्होंने कहा कि इस मामले को लेकर लगभग 9 महीने बीत गए। लगता है कि जानबूझकर मांगों को भ्रमित किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि कर्मचारियों को बीच में ही छोड़ा जा रहा है, हर बार बैठक में ऐसा ही होता है, जिससे कर्मचारियों में आक्रोश बढ़ रहा है, जिसके कारण संगठन बार-बार संघर्ष शुरू करता है और आश्वासन मिलने के बाद संघर्ष स्थगित कर दिया जाता है। लेकिन यदि सरकार ने मांगों का समाधान नहीं किया तो संगठन को उग्र संघर्ष का सामना करना पड़ेगा। पनबस में ठेकेदार दातार सिक्योरिटी ग्रुप द्वारा 11-12 करोड़ रुपये का घोटाला किया गया है और विभाग कार्रवाई करने की बजाय नया ठेकेदार लाने की तैयारी कर रहा है।
राज्य महासचिव शमशेर सिंह ढिल्लों ने कहा कि पंजाब सरकार ने सत्ता में आने से पहले पंजाब को बचाने की बात की थी और विभाग में काम करने वाले गरीब कर्मचारियों में बदलाव लाने की बात कही थी, लेकिन उन्होंने पंजाब रोडवेज और पीआरटीसी में विभाग में बसें लगाने की बजाय सरकारी विभाग का निजीकरण करना शुरू कर दिया। इसमें करीब एक करोड़ रुपये लगते हैं, यह बहुत घाटे का सौदा है। पिछली सरकार ने टाइम किलोमीटर स्कीम के तहत भविष्य में बसें न देने जैसे फैसले लिए थे। इस मौके पर उपाध्यक्ष हरकेश कुमार, गुरप्रीत सिंह पन्नू, चेयरमैन बलविंदर सिंह राठ संयुक्त सचिव जगतार सिंह, जोध सिंह, जलोर सिंह मौजूद रहे। समूह के नेताओं ने संघर्षों का समर्थन करने वाले संगठनों का स्वागत किया और उनसे संघर्षों में कठोर होने का आग्रह किया।