चंडीगढ़ः पंजाबी मशहूर गायक व अभिनेता दिलजीत दोसांझ के लाइव कॉन्सर्ट का मामला एक बार फिर से सुर्खियों में आ गया गया है। दरअसल, अभिनेता दिलजीत दोसांझ के 14 दिसंबर 2024 को सेक्टर- 34 में हुए कॉन्सर्ट की टिकटों में धोखाधड़ी का मामला सामने आया है। ठगों के एक गिरोह ने जीरकपुर के रहने वाले एक युवक को 8.22 लाख रुपये में 8 नकली टिकट दे दी। शिकायतकर्ता युवक इन टिकटों को लेकर कॉन्सर्ट में पहुंचा तो पता चला कि टिकटें तो नकली थी। वहां एंट्री गेट पर खड़े बाउंसर ने 6 टिकटें फाड़ दी और बाकी बची 2 टिकट उन्होंने चंडीगढ़ पुलिस को दिखाई और मामले की जानकारी दी।

शिकायत मिलने पर सेक्टर-17 थाना पुलिस ने पिंजौर निवासी वरदान मान, विनीत पाल, सेक्टर-42 निवासी पर्व कुमार, किशनगढ़ निवासी रोहन सिंह उर्फ रोहन लुबाना और आकाशदीप सिंह के खिलाफ केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है। माया गार्डन जीरकपुर के रहने वाले संस्कार रावत ने पुलिस को दी शिकायत में बताया कि उसकी मुलाकात उसके एक दोस्त पर्व कुमार से हुई। उसने बताया कि उसका एक ग्रुप है, जो दिलजीत के कॉन्सर्ट की टिकट बेच रहा है। आरोपी पर्व कुमार ने संस्कार को 98 टिकट उपलब्ध करवाने का वादा किया। इनमें 17 फैनपिट, तीन सिल्वर और 78 गोल्ड टिकट थीं। संस्कार ने बताया कि पहले उसने आरोपियों के ग्रुप को 12 टिकटों के लिए 43 हजार दिए, लेकिन उन्हें टिकट नहीं मिली।
आरोपियों ने कहा कि 12 टिकट उन्हें 11 दिसंबर को सेक्टर-17 में मिल जाएंगी, लेकिन तब भी उन्हें कोई टिकट नहीं मिली। फिर 12 अन्य टिकट के बदले उनसे 44500 रुपये ले लिए। आरोपी फिर भी उन्हें टिकट के नाम पर केवल वादे करते रहे। उन्होंने आरोपियों को 8.22 लाख दे दिए और बदले में उन्हें केवल आठ टिकट ही मिली। जब वे इन टिकटों के साथ कॉन्सर्ट में पहुंचे तो वहां बाउंसर ने टिकटें फाड़ दी। दिलजीत दोसांझ के चंडीगढ़ से पहले दिल्ली में हुए शो में जाली टिकट स्कैम हुआ था। तब भी कई लोगों को नकली टिकटें बेच दी गई थी। वहीं, दिलजीत के शो की टिकटों को लेकर कालाबाजारी का भी मामला सामने आया था और ईडी ने भी कई जगहों पर रेड की थी।
चंडीगढ़ में भी दिलजीत के शो में खूब भीड़ उमड़ी थी और टिकट के बावजूद लोग एंट्री नहीं कर सके थे। इस शो के कारण शहर में काफी विवाद भी हुआ था। इसके बाद पंजाबी गायक एपी ढिल्लों के कॉन्सर्ट को सेक्टर-25 के रैली ग्राउंड में शिफ्ट कर दिया गया था। संस्कार ने बताया कि आरोपियों ने पूरी साजिश के साथ उनके साथ धोखाधड़ी की। आरोपी जानबूझकर उन्हें नकली ई-मेल भेजते रहे ताकि वे उनकी साजिश को समझ न सके। उन्होंने रुपये भेजने के बाद कई बार आरोपियों से टिकट मांगी, लेकिन वे केवल ई-मेल भेजकर उन्हें टिकट दिखा देते, लेकिन उन्हें कोई टिकट नहीं मिली।