पटियाला: मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने शनिवार को पटियाला फ्लाइंग क्लब में एयरक्राफ्ट इंजीनियरों और प्रशिक्षुओं से बातचीत करते हुए कहा कि राज्य में विमानन क्षेत्र को आम जनता के लिए सुलभ बनाने के लिए कई कदम उठाए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि पटियाला फ्लाइंग क्लब में 32 प्रशिक्षु पायलट और 72 छात्रों के साथ विचार-विमर्श सत्र आयोजित किया गया, जिसमें अधिकांश पायलट पहली पीढ़ी के परिवारों से हैं जो विमानन क्षेत्र में प्रवेश कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि निजी संस्थानों में कमर्शियल पायलट प्रशिक्षण की लागत 40–45 लाख रुपए होती है, जबकि पटियाला फ्लाइंग क्लब में लगभग 50% सब्सिडी के साथ फीस 22–25 लाख रुपए है। इस किफायती प्रशिक्षण से दुकानदार, शिक्षक, किसान और सामान्य परिवारों के बच्चों के लिए पायलट बनने का सपना साकार हो सकता है। उन्होंने पटियाला एविएशन कॉम्प्लेक्स में 7 करोड़ रुपए की लागत से स्थापित होने वाले ‘एविएशन म्यूजियम’ की भी जानकारी दी, जिसमें मिग विमान, हेलीकॉप्टर, सिमुलेटर और विमानन विरासत प्रदर्शित की जाएगी।

सीएम भगवंत सिंह मान ने सिविल एविएशन विभाग की नई वेबसाइट dca.punjab.gov.in लॉन्च की और कहा कि पटियाला स्टेट एविएशन काउंसिल का उद्देश्य हर बच्चे को आकाश में उड़ान भरने का अवसर देना है। उन्होंने पटियाला फ्लाइंग क्लब की स्थापना 1965 और इसके 253 एकड़ में फैले परिसर की उपलब्धियों का उल्लेख करते हुए कहा कि क्लब वर्तमान में सात प्रशिक्षण विमान संचालित करता है और यह देश में सातवें स्थान पर है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि पंजाब सरकार पटियाला एयरक्राफ्ट मेंटेनेंस इंजीनियरिंग (AME) कॉलेज में किफायती तकनीकी शिक्षा प्रदान करती है। 3 वर्षीय बीएससी (ऑनर्स) + 3 वर्षीय DGCA-मान्यता प्राप्त AME कार्यक्रम की कुल फीस केवल 3 लाख रुपए है, जिसमें 33% सीटें SC और BC छात्रों के लिए आरक्षित हैं। उन्होंने बताया कि इस संस्थान से प्रशिक्षित 4,000 से अधिक पेशेवर प्रमुख एयरलाइंस, चार्टर कंपनियों और फ्लाइंग क्लबों में कार्यरत हैं, जिनकी शुरुआती तनख्वाह प्रति माह लगभग 1.5 लाख रुपए है।

सीएम भगवंत सिंह मान ने युवाओं को प्रेरित करते हुए कहा कि उनका ध्यान सिर्फ नौकरी पाने पर नहीं बल्कि नौकरी देने वाले बनने पर होना चाहिए। उन्होंने छात्र-छात्राओं को मेहनत और लगन के साथ अपने करियर में ऊंचाइयों तक पहुंचने और समाज में अपनी छाप छोड़ने की अपील की।
