ऊना/सुशील पंडित: केंद्र सरकार की शह पर भाजपा शासित राज्यों में किसानों, दलितों, ओबीसी वर्ग , महिला खिलाडियों और आदिवासी लोगों पर अत्याचार कर संविधान की शक्तियों को कई बार चुनौतियां दी गई। भाजपा का लक्ष्य है कि संविधान को खत्म करना है यह बात ऊना ब्लॉक महिला कांग्रेस अध्यक्ष सीमा शर्मा ने कही। उन्होंने कहा कि सत्ता का नशा भाजपा नेताओं पर इस कदर है कि आम जनमानस की बेरोजगारी,शिक्षा,मंहगाई ,स्वास्थ्य और बिगड़ती कानून व्यवस्था पर कोई ठोस क़दम उठाने की बजाय लोगों को धर्मों और समुदायों में बांट कर विभिन्न जगहों पर दंगों को करवाने का षड़यंत्र रच रही हैं। उन्होंने कहा कि इस समय देश में बेरोज़गारी, मंहगाई , बिगड़ती कानून व्यवस्था और बच्चों को मंहगी शिक्षा दिलाने जैसे संवेदनशील मुद्दों पर केंद्र सरकार गंभीर नहीं है। जिस कारण लोग अपने आपको असुरक्षित महसूस कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार का गैर भाजपा शासित राज्यों के प्रति तानाशाही रवैया है, जिस कारण ही कांग्रेस शासित राज्यों को आर्थिक तंगियों से गुजरना पड़ रहा है। अगर संविधान नहीं होता तो गैर भाजपा शासित राज्यों में कभी भी सरकारें गिरा सकते थे। आज संविधान की ताकत ही है कि हर व्यक्ति अपनी बात को खुलकर रख सकता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में भाजपा के लोकसभा चार और राज्य सभा के दो यानि कुल 6 सांसद होने के बाबजूद भी केन्द्र सरकार से अपने प्रदेश के हक की लड़ाई लड़ने में सक्षम नहीं है। उनको मात्र अपने बिजली के बिलों की ही चिंता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश की मौजूदा सुक्खू सरकार दमदार तरीके से जनहित के काम कर रही है। लेकिन भाजपा नेताओं को सत्ता जाने से हो रही छटपटाहट खत्म होने का नाम नहीं ले रही। उन्होंने कहा कि भाजपा नेता उठते बैठते प्रदेश की मौजूदा सुक्खू सरकार को अस्थिर करने के लिए नए नए प्रयोग कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा नेता अपने षड्यंत्रों में कभी कामयाब नहीं होंगें। क्योंकि प्रदेश की जनता ने पूरे पांच साल के लिए कांग्रेस पार्टी को प्रदेश की सत्ता सौंपी है।