तिरुवनंतपुरम: भारत के दक्षिणी राज्य केरल से एक बार फिर खतरे की घंटी बज रही है। जी हां यहां एक बार फिर खतरनाक वायरस पांव पसार रहा है। तेजी से बढ़ रहे संक्रमितों के आंकड़े को देखते हुए राज्य सरकार भी अलर्ट मोड पर आ गई है। बताया जा रहा है कि कोझिकोड के एक अस्पताल में एक नए संक्रमित की पुष्टि हुई है। 39 साल के संक्रमित मरीज को निगरानी में रखा गया है।
बता दें कि कोझिकोड में इस वायरस के संक्रमण से दो लोगों की मौत हो चुकी है और तीन अन्य लोग पॉजिटिव मिले हैं। संक्रमितों में से एक 9 वर्षीय बच्चे की स्थिति गंभीर है। इसके साथ ही कोझिकोड में निपाह वायरस के कुल मामलों की संख्या छह हो गई है। ‘मोनोक्लोनल एंटीबाडी’ के केरल पहुंचने के बाद राज्य की स्वास्थ्य मंत्री वीणा जॉर्ज ने बताया कि एंटीवायरल की स्थिरता के बारे में केंद्रीय विशेषज्ञ समिति के साथ चर्चा की गई थी। आगे की कार्रवाई पर फैसला विशेषज्ञ समिति करेगी।

मंत्री वीणा जॉर्ज ने कहा कि किसी भी तरह से परेशान होने की जरूरत नहीं है। हम सब मिलकर इस स्थिति से निपट सकते हैं। राज्य के स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव और केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के बीच एक बैठक भी हुई है। एम102.4 मोनोक्लोनल एंटीबाडी को कोझिकोड में 2018 में निपाह संक्रमण के दौरान संक्रमितों के इलाज के लिए आयात किया गया था। तब इसका इस्तेमाल नहीं किया गया था क्योंकि इसके आने तक वायरस का संक्रमण खत्म हो चुका था।
दूसरी ओर हालात की गंभीरता को देखते हुए कन्नूर, वायनाड और मलप्पुरम में अलर्ट जारी कर दिया गया है। यहां की 7 ग्राम पंचायतों को कंटेनमेंट जोन बनाया गया है। इन इलाकों और यहां के अस्पतालों में मास्क पहनना अनिवार्य कर दिया गया है। इसके अलावा कोझिकोड के जिला अधिकारी ने उपरोक्त 7 पंचायतों के सभी एजुकेशनल इंस्टीट्यूट, आंगनबाड़ी केंद्र, बैंक और सरकारी संस्थानों को बंद रखने का आदेश दिया है। सुबह 7 से शाम 5 बजे तक सिर्फ दवाइयां और जरूरी चीजों की दुकानें ही खोलने की इजाजत है।